Kharswan: तकरीबन एक दशक पूर्व खरसावां के बुरुडीह में करोड़ों खर्च कर अभिजीत प्लांट को यह सोचकर स्थापित किया गया था कि प्लांट स्थापित होने से उद्योग व्यापार बढ़ेगा और लोगों को रोजगार प्राप्त होगा. लेकिन वर्तमान में विगत कई सालों से कंपनी आर्थिक संकट के चलते बंद पड़ी है. लेकिन बंद पड़ी कंपनी भी सोने का अंडा देने वाला मुर्गी साबित हो रही है.
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अभिजीत प्लांट ना ही शुरू हो सका ना ही इसे उद्योग का दर्जा मिल सका. लेकिन बंद पड़े प्लांट से स्क्रैप कटिंग चोरी वर्तमान समय में उद्योग का रूप ले चुका है. विगत कई सालों से निरंतर बंद प्लांट से स्क्रैप कटिंग कर चोरी को अंजाम दिया जा रहा है. कई बार स्क्रैप खपाने वाले पुलिस के हत्थे चढ़े हैं. लेकिन बावजूद इसके स्क्रैप निकालकर बेचना बदस्तूर जारी रहा. स्थानीय कुछ ग्रामीणों द्वारा बताया गया है कि स्क्रैप कटिंग कर बेचे जाने के इस खेल में खादी से लेकर खाकी तक शामिल हैं. हाल के दिनों में स्क्रैप बेचे जाने के मामले में दो थानेदार आमने-सामने हो गए थे. कारण रहा जबरन एक थानेदार का दूसरे थानेदार के क्षेत्र में कार्रवाई. मामला इतना बढ़ गया कि इसकी चर्चा खरसावां से लेकर सीनी क्षेत्र के चौक -चौराहों पर भी सुनने को मिली. दोनों वर्दीधारी के तनातनी को बढ़ता देख मामला कोल्हान डीआईजी तक जा पहुंचा है .जिसके बाद मामले की उच्चस्तरीय जांच चल रही है. बताया जाता है कि हेड क्वार्टर डीएसपी को स्थानीय ग्रामीणों से जांच कर मामले का पटाक्षेप करने का आदेश प्राप्त हुआ है. बताया जाता है कि स्क्रैप व्यवसाय में रुचि रखने वाले पुलिस पदाधिकारी पर गाज गिरना तय है.
पुलिस प्रशासन के मिलीभगत से चल रहा स्क्रैप का गोरखधंधा :विजय महतो
भाजपा जिला अध्यक्ष विजय महतो ने अभिजीत प्लांट से स्क्रैप कटिंग मामले पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि अरबों की संपत्ति अभिजीत प्लांट से निरंतर चुराकर बेची जा रही है. जिस पर रोक लगाने में स्थानीय पुलिस प्रशासन विफल है. इन्होंने कहा कि इतने बड़े प्लांट से निरंतर स्क्रैप चोरी होने का मामला छोटा नहीं है, निश्चित तौर पर पुलिस-प्रशासन के मिलीभगत से यह गोरखधंधा चल रहा है.
विधायक ने कहा मुझे नहीं है जानकारी
बंद अभिजीत प्लांट से स्क्रैप कटिंग -चोरी मामले पर खरसावां के विधायक दशरथ गागराई से जब सवाल किया गया तो इन्होंने पूरी तरह अनभिज्ञता जताई. विधायक ने कहा कि इन्हें इस मामले में कोई जानकारी नहीं है. अगर मामला संज्ञान में आया तो निश्चित तौर पर कार्रवाई होगी.