Chaibasa : इसे दुर्भाग्यपूर्ण कहें या नियति की मार, जिस वीर शहीद पोटो हो ने जंगल, जल व जमीन की रक्षा के लिये अपनी जान की कुर्बानी तक दी थी उसी पोटो हो के वंशजों की पुश्तैनी जमीनों पर अवैध कब्जा आज भी बरकरार है। वंशजों का दावा है कि अंचल कार्यालय से लेकर मुख्यमंत्री तक से वे न्याय की गुहार लगा चुके हैं। बावजूद नतीजा सिफर ही है।
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पोटो के वंशज जापान पुरती, रमेश पुरती, जगन्नाथ पुरती, मंगल पुरती समेत अन्य वंशजों का आरोप है कि उनकी करीब 62 एकड़ पुश्तैनी जमीन पर कुछ लोगों का अवैध कब्जा है। कोल्हान भूमि बचाओ समिति के अध्यक्ष विनोद कुमार सावैयां ने सोमवार को राजाबासा का दौराकर इस अवैध कब्जे की अद्यतन स्थिति जानी और मदद का आश्वासन दिया। पोटो हो के वंशजों ने बताया कि यह कब्जा तीस वर्ष पुराना है। गरीबी की वजह से कोर्ट में लड़ने की ताकत भी अब नहीं रही। कब्जेदार जमीन पर खेतीकर उसका लाभ ले रहे हैं और हमलोग दूसरों के खेतों में मजदूरी करने को विवश हैं। सरकार हमें हमारी जमीनें वापस दिलाये। बस हम यही चाहते हैं।
पोटो हो को शहीद और राजाबासा को शहीद ग्राम का प्राप्त है दर्जा
सेरेंगसिया घाटी युद्ध में कोल विद्रोह की अगुवाई करनेवाले वीर शहीद पोटो हो को शहीद का सरकारी दर्जा प्राप्त है। साथ ही उनके गांव राजाबासा, जो जगन्नाथपुर प्रखंड में आता है, को भी शहीद ग्राम का सरकारी दर्जा हासिल है। फिर भी उनके वंशजों का ये हाल है। जबकि पोटो हो के नाम से राज्य में एक योजना भी चलती है। ऐसे में भी वंशजों का ये हाल बना हुआ है। उपेक्षा की ये हद है।
दर्जभर से अधिक हैं पोटो हो के वंशज
राजाबासा में एक दर्जन से अधिक पोटो हो के वंशज रहते हैं और अत्यंत ही गरीब हैं। अधिकत्तर वंशज निरक्षर भी हैं। पोटो हो के वंशजों में रासिका पुरती, सुकुमारी पुरती, शांति पुरती, लवली पुरती, अजूबा पुरती, पायल पुरती, राजेंद्र पुरती, रश्मि पुरती, रूपा पुरती, जापान पुरती, समीरा पुरती, मंगल पुरती, रमेश पुरती, जगन्नाथ पुरती समेत अन्य शामिल हैं।
जांच के बाद क्या हुआ पता नहीं : वंशज
पोटो हो के वंशजों ने बताया कि एक साल पहले इस मामले की जगन्नाथपुर अंचल कार्यालय की टीम ने गांव आकर जांच की थी। लेकिन बाद में इसका क्या हुआ पता नहीं। लेकिन हमें न्याय नहीं मिला। वंशजों ने बताया कि कुछ वर्ष पूर्व सेरेंगसिया में आयोजित सरकार आपके द्वार कार्यक्रम में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने उनको किचन सेट तथा मोबाईल देकर सम्मानित किया था।
शिकायत के बाद कार्रवाई नहीं होना दुर्भाग्यपूर्ण : विनोद सावैयां
कोल्हान भूमि बचाओ समिति के अध्यक्ष विनोद कुमार सावैयां ने कहा कि कुछ वर्ष पहले वंशजों की ओर से उपायुक्त से अवैध कब्जे की शिकायत की गयी थी। थोड़ी बहुत मामले की जांच हुई थी। लेकिन बाद में मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया। पोटो हो के वंशजों के साथ इंसाफ होना चाहिये। इसके लिये समिति आवाज बुलंद करेगी।